लुधियाना के डीआईजी आवास में ASI तीर्थ सिंह ने संदिग्ध परिस्थितियों में अपनी सर्विस रिवाल्वर से गोली मारकर अपनी जान दे दी। शुरुआती जांच में आत्महत्या की आशंका जताई जा रही है। पुलिस मामले की गहन जांच कर रही है।
तीर्थ सिंह के तीन बच्चे कनाडा में हैं, जो आने के बाद ही शव का पोस्टमार्टम होगा। यह घटना पुलिस और स्थानीय समाज में गहरा सदमा पैदा कर रही है।
घटना की विस्तृत जानकारी
मंगलवार तड़के लगभग तीन बजे लुधियाना के डीआईजी आवास में एक चौंकाने वाली घटना घटी। ASI तीर्थ सिंह (50), जो पिछले पांच वर्षों से डीआईजी सतिंदर सिंह के आवास में मिसलेनियस स्टोर कीपर की ड्यूटी कर रहे थे, ने संदिग्ध परिस्थितियों में अपनी सर्विस रिवाल्वर से गोली मार ली।
गोली सिर में लगी और उन्हें तत्काल निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
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पुलिस ने बताया कि मौके पर मौजूद अन्य मुलाजिमों ने तुरंत मदद की, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी। यह घटना न केवल पुलिस विभाग बल्कि पूरे लुधियाना समाज के लिए एक सदमे की तरह है।
पुलिस की जांच और प्रारंभिक निष्कर्ष
घटना के तुरंत बाद थाना डिवीजन आठ की पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल भेज दिया। प्रारंभिक जांच में यह आत्महत्या की संभावना जताई जा रही है, लेकिन पुलिस ने यह भी कहा कि यह गलती से रिवाल्वर चलने का मामला भी हो सकता है।
पुलिस के अनुसार, सुबह रिवाल्वर सेट करते समय गोली चलने का भी एक संभावना है। फिलहाल सभी साक्ष्यों और गवाहों की जांच जारी है।
परिवार और बच्चों की प्रतिक्रिया
तीर्थ सिंह के दो बेटे और एक बेटी कनाडा में रहते हैं। घटना की जानकारी पहले स्थानीय रिश्तेदारों को दी गई, उसके बाद बच्चों को सूचित किया गया। पुलिस ने स्पष्ट किया कि बच्चों के लुधियाना आने के बाद ही शव का पोस्टमार्टम किया जाएगा।
पुलिस का कहना है कि यह परिवार के लिए बेहद दर्दनाक समय है और बच्चों के आने पर सभी कानूनी औपचारिकताएं पूरी की जाएंगी। यह घटना परिवार के साथ-साथ पुलिस विभाग के लिए भी भारी मानसिक धक्का साबित हो रही है।
समाज और विभाग पर प्रभाव
तीर्थ सिंह की मौत से लुधियाना के पुलिस विभाग और स्थानीय समाज में शोक की लहर दौड़ गई है। कई लोग इसे पुलिसकर्मी की जिम्मेदारी और मानसिक दबाव से जोड़कर देख रहे हैं। इस घटना ने यह सवाल भी उठाया है कि किन परिस्थितियों में कर्मचारी मानसिक और भावनात्मक दबाव में रहते हैं।
समाज और विभाग के लोग अब इस मामले में गहन जांच की मांग कर रहे हैं ताकि घटना की सही वजह सामने आ सके। यह घटना हमें याद दिलाती है कि मानसिक स्वास्थ्य और सुरक्षा हर कर्मचारी के लिए आवश्यक है।
निष्कर्ष –
लुधियाना में ASI तीर्थ सिंह की संदिग्ध मौत न केवल उनके परिवार के लिए बल्कि पुलिस विभाग और समाज के लिए भी गहरे सदमे का कारण बनी है। प्रारंभिक जांच में आत्महत्या की आशंका जताई जा रही है, लेकिन पुलिस ने स्पष्ट किया है कि पोस्टमार्टम और गहन जांच के बाद ही सही कारण सामने आएगा।
इस घटना ने यह सवाल उठाया है कि पुलिसकर्मी और अन्य कर्मचारी किन मानसिक और भावनात्मक दबावों से गुजरते हैं।
तीर्थ सिंह की मौत ने परिवार को तो हृदयविदारक क्षति पहुंचाई है, लेकिन विभाग और साथियों के लिए भी यह एक गंभीर चेतावनी के रूप में सामने आई है। यह घटना न केवल व्यक्तिगत बल्कि संगठनात्मक जिम्मेदारियों, सुरक्षा और मानसिक स्वास्थ्य की अहमियत को भी उजागर करती है।
पुलिस विभाग ने मामले की जांच तेज कर दी है और बच्चों के कनाडा से आने के बाद शव का पोस्टमार्टम किया जाएगा, जिससे सभी तथ्यों का सही पता चल सके।
समाज और परिवार दोनों इस समय गहरे शोक में हैं। यह घटना हमें याद दिलाती है कि मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान देना और कर्मचारियों के लिए सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करना अत्यंत आवश्यक है।
केवल गहन जांच और पारदर्शिता के माध्यम से ही ऐसे घटनाओं के सही कारणों का पता लगाया जा सकता है और भविष्य में उनसे बचाव सुनिश्चित किया जा सकता है.

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